हैदराबाद, 31 अक्टूबर . भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान और कांग्रेस नेता मोहम्मद अजहरुद्दीन ने Friday को तेलंगाना कैबिनेट में मंत्री के तौर पर शपथ ली.
Governor जिष्णु देव वर्मा ने राजभवन में हुए एक समारोह में अजहरुद्दीन को पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई.
अजहरुद्दीन ने अल्लाह के नाम पर शपथ ली और शपथ के आखिर में ‘जय तेलंगाना’ और ‘जय हिंद’ के नारे लगाए.
Chief Minister ए रेवंत रेड्डी, उपChief Minister मल्लू भट्टी विक्रमार्क और अन्य मंत्री, स्पीकर गद्दम प्रसाद कुमार, विधान परिषद के चेयरमैन जी सुखेन्द्र रेड्डी, तेलंगाना प्रदेश कांग्रेस कमेटी (टीपीसीसी) के अध्यक्ष महेश कुमार गौड़ भी शपथ ग्रहण समारोह में मौजूद थे.
अजहरुद्दीन के बेटे मोहम्मद असदुद्दीन भी मौजूद थे, जिन्हें हाल ही में टीपीसीसी का महासचिव नियुक्त किया गया है.
राज्य कैबिनेट ने अगस्त में अजहरुद्दीन को Governor के कोटे से विधान परिषद सदस्य के तौर पर नॉमिनेट करने का फैसला किया था.
अजहरुद्दीन को अल्पसंख्यक कल्याण विभाग मिलने की संभावना है.
पूर्व सांसद अजहरुद्दीन फिलहाल तेलंगाना प्रदेश कांग्रेस कमेटी (टीपीसीसी) के कार्यकारी अध्यक्ष और इसकी पॉलिटिकल अफेयर्स कमेटी के सदस्य हैं.
62 साल के अजहरुद्दीन को 11 नवंबर को होने वाले जुबली हिल्स विधानसभा क्षेत्र के उपचुनाव से पहले कैबिनेट में शामिल किया गया है.
पूर्व क्रिकेटर, जो 2023 में अपने गृह क्षेत्र से चुनाव हार गए थे, फिर से चुनाव लड़ना चाहते थे, लेकिन कांग्रेस नेतृत्व ने नवीन यादव को मैदान में उतारने का फैसला किया और अजहरुद्दीन को कैबिनेट में जगह देने का वादा किया.
अजहरुद्दीन के शपथ ग्रहण के साथ ही राज्य कैबिनेट में मंत्रियों की संख्या बढ़कर 16 हो गई है. वह रेवंत रेड्डी की कैबिनेट में पहले मुस्लिम मंत्री होंगे.
सत्ताधारी पार्टी को करीब दो साल पहले सत्ता में आने के बाद से ही एक भी मुस्लिम मंत्री न होने के कारण समुदाय के विभिन्न वर्गों की आलोचना झेलनी पड़ रही थी.
अजहरुद्दीन समेत कांग्रेस पार्टी के सभी प्रमुख मुस्लिम उम्मीदवार 2023 के विधानसभा चुनावों में हार गए थे.
अजहरुद्दीन को मंत्री बनाए जाने को कांग्रेस पार्टी का मुसलमानों तक पहुंचने की कोशिश के तौर पर देखा जा रहा है, जो जुबली हिल्स में मतदाताओं का लगभग 30 प्रतिशत हैं.
दिलचस्प बात यह है कि भाजपा ने चुनाव आयोग से कैबिनेट विस्तार की इजाजत न देने की अपील की थी, क्योंकि अजहरुद्दीन को उपचुनाव में वोटर्स के एक खास ग्रुप को खुश करने के लिए मंत्री बनाया जा रहा है. पार्टी ने इसे मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट का उल्लंघन बताया है.
कैबिनेट का गठन 7 दिसंबर, 2023 को Chief Minister रेवंत रेड्डी और 11 मंत्रियों के शपथ ग्रहण के साथ हुआ था.
काफी देरी के बाद, 8 जून को तीन मंत्रियों को शामिल करके कैबिनेट का विस्तार किया गया. हालांकि, कांग्रेस नेतृत्व ने तीन पद खाली रखे.
राज्य कैबिनेट में Chief Minister सहित अधिकतम 18 मंत्री हो सकते हैं.
अजहरुद्दीन 2009 में कांग्रेस पार्टी में शामिल होने के कुछ महीने बाद उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद निर्वाचन क्षेत्र से Lok Sabha के लिए चुने गए थे. कांग्रेस ने उन्हें 2014 में Rajasthan के टोंक-सवाई माधोपुर से मैदान में उतारा था, लेकिन वह चुनाव हार गए थे.
2018 में, उन्हें तेलंगाना कांग्रेस का कार्यकारी अध्यक्ष नियुक्त किया गया था. उन्होंने 2018 के विधानसभा चुनावों में पार्टी के लिए प्रचार किया था, लेकिन पार्टी ने उन्हें न तो विधानसभा और न ही Lok Sabha चुनावों में टिकट दिया.
–
वीकेयू/एएस
You may also like
 - घाटशिला उपचुनाव में झामुमो को समर्थन देगी भाकपा माले
 - सीआईआई के सेफ्टी टॉक में तकनीक से सुरक्षित कार्य संस्कृति पर जोर
 - राज्य स्थापना दिवस को लेकर उपायुक्त ने दिया अधिकारियों को दिया निर्देश
 - झारखंड में पांच जेल अधीक्षकों की हुई पोस्टिंग, चंद्रशेखर प्रसाद सुमन बने हजारीबाग जेल के काराधीक्षक
 - छात्रों के हित को ध्यान में रखकर करें पुस्तक लेखन का कार्य: प्रबल सिपाहा





